आज शिक्षक दिवस है...उन सभी शिक्षकों जो ज्ञान का प्रकाश फैलने की चेष्टा में सतत प्रयत्नशील है उनको शत-शत नमन...कुछ शब्द उनके और समाज के लिये...
शिक्षा का कोई अंत नहीं,
उम्र का कोई बंधन नहीं,
समय की बाध्यता नहीं...
जन्म से लेकर मृत्यु तक
मानव कुछ न कुछ
सीखता ही रहता है
कभी प्रकृति से
तो कभी आस-पास के परिवेश से...
शिक्षा ऐसा लेन देन है
जिससे लेने वाले की
झोली तो भरती ही है,
देने वाला भी कभी नहीं रीतता...
सच तो यह है
जो इस महादान को
देने और लेने में कंजूसी करता है,
वही अंततः रीतता जाता है ।
@सुधा आदेश
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